-राममंदिर ट्रस्ट की अपील- आसपड़ोस के भक्त 15-20 दिन बाद आएं
अयोध्या। रामनगरी अयोध्या में मंगलवार को भी श्रद्धालुओं का रेला उमड़ा रहा। मंगलवार होने के चलते हनुमानगढ़ी में दो किलोमीटर लंबी लाइन लगी रही कुछ इसी तरह का दृश्य राम जन्मभूमि में भी रहा, रामलला के दर्शन करने के लिए भक्तों की भारी भीड़ उमड़ पड़ी है। सोमवार को रामलला के दरबार में 3.55 लाख भक्तों ने हाजिरी लगाई। दो दिनों के भीतर रामलला के दरबार में छह लाख से अधिक भक्त पहुंच चुके हैं।
29 जनवरी को मौनी अमावस्या का मुख्य महापर्व है। मंगलवार की देर शाम से ही लग रही है पर उदया तिथि में यह स्नान 29 को भोर से पूरे दिन चलेगा। इसके लिए भक्तों का रेला है। इस बीच आज भोर से ही 10 लाख से ज्यादा भक्त सरयू स्नान कर नागेश्वरनाथ महादेव का अभिषेक करने के बाद हनुमानगढ़ी दर्शन के लिए पहुंचे रहे हैं।
वहीं अयोध्या में प्रयागराज महाकुंभ के प्रारंभ होने के साथ ही उमड़ी लाखों श्रद्धालुओं की भीड़ को देखते हुए श्रीराम मंदिर ट्रस्ट ने आस-पड़ोस के जिलों में रहने वाले लोगों से 15-20 दिन बाद आकर दर्शन करने की अपील की है। ट्रस्ट के महामंत्री चंपत राय की तरफ से की गई अपील में कहा गया है कि पिछले तीन दिनों से अयोध्या जी में श्रद्धालुओं की संख्या में अभूतपूर्व वृद्धि हुई है।अयोध्या धाम की जनसंख्या एवं आकार को देखते हुए यह कहा जा सकता है कि इतनी अधिक संख्या में भक्तों को एक दिन में रामलला के दर्शन कराना बहुत कठिन है और इसी कारण भक्तों को परेशानी हो रही है।
परिणाम स्वरूप किसी भी प्रकार की अनहोनी को रोकने के लिए आवश्यक हो गया है कि व्यवस्थाओं में उपयुक्त परिवर्तन किए जाएं। भक्तों को अधिक पैदल भी चलना पड़ रहा है। हमारा यह निवेदन है कि पास-पड़ोस के भक्तजन 15-20 दिन के पश्चात दर्शन करने हेतु अयोध्या जी पधारें ताकि बहुत दूर से आने वाले भक्त अभी सुविधा से प्रभु के दर्शन कर सकें। इससे सभी को सुविधा होगी। वसंत पंचमी के बाद फरवरी मास में काफी राहत रहेगी तथा मौसम भी अच्छा हो जाएगा। आसपास के भक्त यदि तब का कार्यक्रम बनाएं तो श्रेष्ठ रहेगा। इस निवेदन पर अवश्य विचार करें।
इसी तरह जिले में श्रद्धालुओं की भीड़ को लेकर सभी अस्पतालों को अलर्ट किया गया है। सीएमओ ने जिला स्तरीय अस्पतालों में इलाज के बेहतर इंतजाम करने, वार्ड आरक्षित रखने के अलावा हर समय विशेषज्ञों की उपलब्धता के निर्देश दिए हैं। इसका असर भी अस्पतालों में मंगलवार को देखा गया है।महाकुंभ स्नान के बाद श्रद्धालुओं का जत्था रामनगरी पहुंच रहा है। जिले के सभी होटल, लॉज, धर्मशाला, गेस्ट हाउस आदि फुल चल रहे हैं। विभिन्न ट्रेनों से काफी संख्या में श्रद्धालु पहुंच रहे हैं। ऐसे में स्वास्थ्य सेवाओं की मजबूती अहम है। मेला क्षेत्र में अस्थायी अस्पतालों के अलावा उपचार केंद्र बनाए गए हैं, जो कि नाकाफी प्रतीत हो रहे हैं। सोमवार को दो श्रद्धालुओं की मौत के बाद स्वास्थ्य महकमा और अलर्ट हुआ है।
प्रशासनिक अधिकारियों के साथ हुई बैठक के बाद सीएमओ डॉ. पुष्पेंद्र कुमार ने राजर्षि दशरथ मेडिकल कॉलेज दर्शननगर, जिला अस्पताल, राजकीय श्रीराम चिकित्सालय, 100 बेड अस्पताल कुमारगंज के अलावा सभी सीएचसी-पीएचसी को भी अलर्ट किया है। जारी पत्र में उन्होंने कहा कि श्रद्धालुओं की भीड़ को ध्यान में रखते हुए अस्पतालों में आकस्मिक सेवाएं दुरुस्त रखें। पर्याप्त चिकित्सक व पैरामेडिकल स्टाफ की इमरजेंसी ड्यूटी लगाई जाए। अपरिहार्य कारणों के अलावा किसी को भी छुट्टियां न दी जाएं।
एंबुलेंस सेवाएं क्रियाशील रहें। पर्याप्त मात्रा में सभी इकाईयों पर दवाएं व चिकित्सीय उपकरणों की उपलब्धता रहे। पैथोलॉजी सेवाएं भी क्रियाशील रहें। किसी तरह की लापरवाही बरतने वाले पर कार्रवाई भी की जाएगी। इसके अनुपालन में मेडिकल कॉलेज, जिला अस्पताल समेत अन्य अस्पतालों में भी व्यवस्थाएं चाक-चौबंद दिखीं। मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य डॉ. सत्यजीत वर्मा ने बताया कि सभी चिकित्सक व स्टाफनर्सों के साथ बैठक करके इलाज के बेहतर इंतजाम किए गए हैं। पुरानी बिल्डिंग में 20 बेड का अलग वार्ड आरक्षित किया गया है। इसे तमाम आधुनिक संसाधनों से लैस किया गया है। ट्रामा सेंटर को भी अलर्ट किया गया है।