गोष्ठी का भी हुआ आयोजन
फैजाबाद। रोटरी क्लब ग्रेटर द्वारा 8 सितम्बर को विश्व साक्षरता दिवस के अवसर पर एक गोष्ठी एवं शिक्षक सम्मान समारोह का आयोजन किया गया। कार्यक्रम की मुख्य अतिथि जिंगल बेल स्कूल की प्रधानाचार्या बीना अग्रवाल थीं। उन्होंने अपने उद्बोधन में कहा कि मानव विकास और समाज के लिये उनके अधिकारों को जानने और साक्षरता की ओर मानव चेतना को बढ़ावा देने के लिये अंतर्राष्ट्रीय साक्षरता दिवस मनाया जाता है। सफलता और जीने के लिये खाने की तरह ही साक्षरता भी महत्वपूर्णं है। गरीबी को मिटाना, बाल मृत्यु दर को कम करना, जनसंख्या वृद्धि को नियंत्रित करना, लैंगिक समानता को प्राप्त करना आदि को जड़ से उखाड़ना बहुत जरुरी है।
क्लब के अध्यक्ष अमित अग्रवाल ने कहा कि स्वतंत्रता प्राप्ति के पश्चात भारत में 6-14 वर्ष के बच्चों के लिए संविधान में पूर्ण और अनिवार्य शिक्षा का प्रस्ताव रखा गया। वर्ष 1949 में संविधान निर्माण के छह दशकों से भी अधिक समय बीत जाने के बावजूद हम अपना लक्ष्य हासिल नहीं कर सके हैं। भारतीय संसद में वर्ष 2002 में 86वां संशोधन अधिनियम पारित हुआ जिसके तहत 6-14 वर्ष के बच्चों के लिए शिक्षा को मौलिक अधिकार का दर्जा दिया गया बावजूद इसके नतीजों में कोई बड़ा बदलाव नहीं हुआ। देश की बहुत सारी चुनौतियों और समस्याओं का समाधान करके एक बेहतरीन समाज बनाने का सपना तबतक साकार नहीं हो सकेगा। जबतक देश की एक बडी अशिक्षित आबादी साक्षर नहीं हो जाती। बेहतर साक्षरता दर से जनसंख्या बढ़ोत्तरी,गरीबी और लिंगभेद जैसी चुनौतियों से निपटा जा सकता है। देश में साक्षरता दर बढ़ाने के लिए भारत सरकार ने भी कई कदम उठाए हैं लेकिन इसके बावजूद साक्षरता दर के विकास में अपेक्षित सफलता नहीं मिल सकी है। क्लब के संस्थापक अध्यक्ष अनुराग अग्रवाल ने कहा कि साक्षरता आंदोलन की देश और समाज मे महत्वपूर्ण भूमिका है। निरक्षर व्यक्ति की तुलना सभ्य समाज में पशु समान की जाती है। आज के दौर मे व्यक्ति का साक्षर होना अति आवश्यक है जिससे व्यक्ति को अपने मौलिक अधिकारों और कर्तव्यों का बोध हो और वह समाज के प्रति अपने अधिकारों और दायित्व का निर्वहन भली भांति कर सके। हमारे भारत देश की 70 प्रतिशत जनता गांवों में निवास करती है जो गरीबी,अंधविश्वास,अशिक्षा के कारण कई अन्य प्रकार के शोषण का शिकार होते हैं। साक्षरता आंदोलन ने इस तरह के कई जाति,धर्म,स्थानीय और प्रांतीय भेदभाव की सीमाओं को तोड़ा है और लोगों को जागरूक किया है। क्लब के पूर्व अध्यक्ष रो अरुण अग्रवाल ने कहा कि साक्षरता विश्व में शांति फैलाने में अहम भूमिका निभा सकता है. जब लोग साक्षर होंगे तो उनके पास रोजगार होंगे, रोजगार का अर्थ है आमदनी और खुशहाली. अगर खुशहाली होगी तो लोग आपस में लड़ेंगे नहीं। इस अवसर पर उपस्थित सभी शिक्षको को नेशन बिल्डर अवार्ड से सम्मानित किया गया।