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आरक्षण कोई भीख नहीं बल्कि समाज में समानता एकता स्थापित करने का मूल मंत्र

-स्वाभिमान संस्थान का मनाया गया स्थापना दिवस

अयोध्या। सामाजिक संगठन स्वाभिमान संस्थान का स्थापना दिवस एवं वार्षिक उत्सव जय गणेश शिव सागर महिला महाविद्यालय देवकाली अयोध्या में मनाया गया। कार्यक्रम का शुभारंभ प्रसिद्ध गीतकार एवं जाने-माने हास्य कवि रामानंद सागर ने स्वागत गीत के माध्यम से किया। समारोह को संबोधित करते हुए विषय प्रवर्तक स्वाभिमान संस्थान अध्यक्ष राम लखन यादव ने संस्थान के उद्देश्यो एवं उसके द्वारा पूर्व में किए गए कार्यों को विस्तार पूर्वक लोगों के बीच प्रस्तुत किया । उन्होंने कहा कि किसी भी देश व राज्य को कुशलतापूर्वक संचालित करने के लिए संविधान की आवश्यकता पड़ती है। जिस संविधान को बाबा साहब भीमराव अंबेडकर के नेतृत्व में 2 वर्ष 11 माह 18 दिन में बना करके तैयार किया गया था, बाबा साहब के नेतृत्व में निर्मित संविधान के अंतर्गत समाज के दबे कुचले हुए लोगों को आरक्षण देकर उन्हें समाज की मुख्यधारा से जोड़ने का प्रयास किया गया। परंतु कालांतर में एससी एसटी ओबीसी विरोधी लोगों के हाथ में सत्ता की बागडोर चली गई और उन्होंने आरक्षण को समाप्त करने में कोई कोर कसर नहीं छोड़ी। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए मुख्य अतिथि चौधरी लौटन निषाद, राष्ट्रीय महासचिव पिछड़ा दलित विकास महासंघ ने कहा कि आरक्षण आर्थिक उन्नति का आधार है। आरक्षण से राष्ट्र का नुकसान नहीं होता, बल्कि डोनेशन से होता है। आरक्षण कोई भीख नहीं है, बल्कि आरक्षण समाज में समानता एकता स्थापित करने का मूल मंत्र है। उन्होंने कहा कि जो लोग आरक्षण से राष्ट्र का नुकसान बताते है, उन्हें यह मालूम होना चाहिए कि वाराणसी कोलकाता में पुल बनाने वाले इंजीनियर आरक्षण कोटे से नहीं आए थे। ओबीसी एससी एसटी एकता पर बल देते हुए उन्होंने कहा कि मौजूदा हालात में सबको एकमत होकर समाज में बिखरे हुए लोगों को एकत्र करना चाहिए। उन्होंने जाति आधारित गणना की मांग करते हुए कहा कि काफी अरसे से ओबीसी के अंतर्गत आने वाली जातियों की गणना नहीं हुई है। धरती पर किन्नर, बंदर, भालू, चीता, कछुआ, गाय, भैंस व बकरी की गणना सरकार द्वारा कराई जाती है। लेकिन सरकार ओबीसी के अंतर्गत आने वाली जातियों की गणना नहीं करवाती। अखिल भारतीय किसान समिति के राष्ट्रीय अध्यक्ष व संस्थान के मीडिया प्रभारी कन्हैया यादव भारतीय ने अपना उद्गार व्यक्त करते हुए कहा कि कई दशक बीतने के बावजूद भी संविधान में लिखित नियमों का 10 प्रतिशत पालन आज तक नहीं हो पाया। आरक्षण कोई भीख नहीं है, देश को आजादी मिलने के बाद देखा गया कि दबे कुचले हुए समाज को कैसे विकास की धारा से अलग रखा गया। उन्हें आगे कैसे लाया जाए , जिसके लिए आरक्षण या कहा जाए की अतिरिक्त सुविधा देने की आवश्यकता पड़ी। देश की आम आवाम जिन नेताओं को अपना नेतृत्व करने की जिम्मेदारी देने के लिए चुनती है, वह लोग अपने पद पर आसीन होने के बाद अपने परिवार के मोह माया में फस जाते है, और जनता का उद्धार कैसे होगा, इसकी परवाह उन्हें नहीं रहती। कार्यक्रम को महानगर अध्यक्ष रमाकांत यादव, उपाध्यक्ष शंकर प्रताप यादव, डॉक्टर सोमनाथ यादव समाजशास्त्री, प्रभांस यादव सीनियर जनरल मैनेजर बी एस एन एल फैजाबाद, जेपी शास्त्री राष्ट्रीय संयोजक मौलिक अधिकार संघर्ष समिति, संदीप पाल जिला अध्यक्ष भारतीय पिछड़ा वर्ग मोर्चा, समेत कई लोगों ने संबोधित किया। कार्यक्रम की अध्यक्षता राम सागर यादव व ं संचालन महासचिव आरजे यादव ने किया व आभार ज्ञापन वरिष्ठ उपाध्यक्ष डॉ आरके यादव ने किया। इस अवसर पर संजय यादव, प्रमोद यादव, रामजीत यादव,अवधेश यादव, राजेंद्र यादव, डॉ जनार्दन यादव, डॉ शिव राम यादव, राजकुमार यादव, अंगद यादव, राजेश यादव फौजी, रोली यादव, सरोज यादव, डॉ अनिल यादव, शिव कुमार यादव, राम रंग यादव, मुकेश यादव, साहब लाल यादव, सतीश यादव, राघवेंद्र यादव, राहुल यादव, उमाशंकर फौजी, संदीप यादव, फूलचंद यादव, शंकर यादव, खुशीराम यादव, अजय यादव, शंकर जीत यादव, करन यादव मन्नू, राम सिंह यादव, शैलेन्द यादव शैलू, अशोक यादव, आरटी यादव, सुशांत यादव आदि मौजूद थे।

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