कृषि विवि के कुलपति का हुआ अभिनन्दन
मिल्कीपुर। नरेंद्र देव कृषि एवं प्रौद्योगिक विश्वविद्यालय कुमारगंज फैजाबाद के कुलपति प्रो. जे. एस. संधू ने कहा है कि उनका लक्ष्य इस विश्वविद्यालय को देश के प्रथम दस विश्वविद्यालयों में श्रेणी में लाना है। उन्होंने कहा कि उन्होंने इसके लिए प्रदेश सरकार को आस्वस्त किया है। कुलपति प्रो संधू रविवार को विश्वविद्यालय के शिक्षकों व वैज्ञानिकों द्वारा अपने लिए आयोजित आभार ज्ञापन समारोह के अवसर पर यह बात कह रहे थे। कुलपति ने कहा कि जब उन्होंने इस विश्वविद्यालय के कुलपति के रूप में कार्यभार ग्रहण किया था तब उनसे प्रतिदिन ऐसे सेवानिवृत्त कर्मी बड़ी संख्या में मिलने आते थे जिनके सेवानिवृत्तिक लाभ रिटायर होने के वर्षों बाद भी नही मिल रहे थे जो उन्हें स्वयं आत्मिक कष्ट पहुंचाता था इसी नजरिये के साथ उन्होंने अपने प्रयासों पर बल देना प्रारम्भ किया और अब ऐसी शिकायतों में काफी कमी आ गई है। उन्होंने कहा कि वे चाहते हैं कि विश्वविद्यालय अपने कर्मियों के कर्तव्य पालन के द्वारा शोध,शिक्षा व प्रसार के कार्यों का भली भांति निर्वहन करे जिससे इसकी गरिमा को पुर्नस्थापित किया जा सके। आभार ज्ञापन समारोह के अतिथि पौराणिक सिद्धपीठ हनुमानगढ़ी नाक के महन्थ रामदास ने कुलपति के प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि अब कुलपति प्रो जे एस संधू के नेतृत्व में विश्वविद्यालय अच्छे दिन का शुभारंभ हो चुका है। इस अवसर पर आभार ज्ञापन समारोह समिति के अध्यक्ष प्रो विक्रमा प्रसाद पांडेय ने कुलपति, उनकी पत्नी व अतिथि महन्थ राम दास का स्वागत करते हुए कुलपति प्रो संधू द्वारा विश्वविद्यालय शिक्षकों,वैज्ञानिकों तथा कर्मचारियों की पीड़ा व समस्याओं के निराकरण में निरंतर निर्विकार भाव से प्रयत्नशील कुलपति के हम ऋणी हैं। इस अवसर पर विश्वविद्यालय के शिक्षक व वैज्ञानिकों ने भी अपना सम्बोधन करते हुए अपने विचार रखे। कार्यक्रम में कुलपति प्रो संधू को विश्वविद्यालय परिवार की ओर से प्रो पी के सिंह अधिष्ठाता कृषि तथा प्रो विक्रमा प्रसाद पांडेय अधिष्ठाता उद्यान ने स्मृति चिन्ह भेंट किया। कुलपति ने महन्थ रामदास को स्मृति चिन्ह व अंगवस्त्र भेंट किया। विश्वविद्यालय की ओर से कुलपति के सम्बन्धी तथा वाराणसी के वरिष्ठ शिशुरोग विशेषज्ञ डॉ वी के शुक्ला को तथा छोटे पुत्र तेगवीर सिंह को भी स्मृति चिन्ह भेंट किया गया। कार्यक्रम के अंत में प्रो भगवानदीन ने धन्यवाद ज्ञापित किया।
Comments are closed, but trackbacks and pingbacks are open.