-दीपोत्सव में विश्व कीर्तिमान बनाने के लिए 37 इण्टर कालेजों के प्रधानाचार्य व प्रतिनिधि हुए प्रशिक्षित
अयोध्या। डॉ. राममनोहर लोहिया अवध विश्वविद्यालय प्रशासन ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के मंशानुरूप रामनगरी के आठवें दीपोत्सव को एतिहासिक बनाने के लिए इण्टर कालेजों के प्राचार्यों एव प्रतिनिधियों को प्रशिक्षित किया। विश्वविद्यालय की कुलपति प्रो0 प्रतिभा गोयल के निर्देश पर सोमवार कौटिल्य प्रशासनिक भवन के सभागार में 37 इण्टर कालेजों के प्राचार्यो एवं प्रतिनिधियों को पीपीटी एवं वीडियो के माध्यम से प्रशिक्षित किया गया। प्रशिक्षण कार्यक्रम में दीपोत्सव नोडल समन्वयक प्रो0 संत शरण मिश्र ने बताया कि उत्तर प्रदेश शासन व जिला प्रशासन के समन्वय में विश्वविद्यालय का आठवां दीपोत्सव भव्य होगा। राम पैड़ी के 55 घाटों पर 25 लाख दीए प्रज्ज्वलित किए जायेंगे। जिसके लिए घाटों पर 28 लाख दीए सजाये जायेंगे।
कार्यक्रम में प्रो0 मिश्र ने बताया कि दीपोत्सव के विश्व कीर्तिमान के लिए विवि परिसर सहित 14 महाविद्यालय, 37 इण्टर कालेज, 40 एनजीओ के 30 हजार स्वयेसवक लगाये जायेंगे। सभी घाटों के मैपिंग का कार्य सम्पन्न किया जा चुका है। 20 अक्टूबर तक मार्किंग का कार्य पूरा कर लिया जायेगा। प्रशिक्षण कार्यक्रम में प्रो0 मिश्र ने प्राचार्यो एवं प्रतिनिधियों को बताया कि राम की पैड़ी के सभी घाटों पर 16 गुणे 16 ब्लाक में 30 एमएल दीए में 30 एमएल सरसों को इस्तेमाल किया जायेगा। इसके लिए स्वयंसेवकों को एक लीटर का बोतल दिया जायेगा। घाट प्रभारी की देखरेख में बड़ी सावधानी से दीए में तेल डालेंगे।
उन्होंने बताया कि दीपोत्सव में सहभागिता के लिए पंजीकरण का कार्य 15 अक्टूबर तक पूरा कर लिया जायेगा। 20 अक्टूबर से स्वयंसेवकों का आईकार्ड का वितरण शुरू कर दिया जायेगा। 24 अक्टूबर से घाटों पर सामग्री पहुॅचाने व 25 अक्टूबर से स्वयंसेवकों द्वारा घाटों पर दीए लगाने का कार्य शुरू कर दिया जायेगा। 29 अक्टूबर से घाटो पर लगे दीए की गणना होगी। वही 30 अक्टूबर को घाटों पर लगे दीयों में बाती, तेल डालना व प्रज्ज्वलन करके विश्व रिकार्ड बनायेंगे। इस प्रशिक्षण में डॉ0 अनुराग सोनी व डॉ0 संदीप रावत ने पीपीटी के माध्यम से घाटों की मार्किंग, दीयों को बिछाना, बाती लगाना, दीपों में बोतल से तेल डालना, खाली तेल के बोतल को गत्ते में डालना, दीपो को तय समय पर जलाना व अनुशासन में रहते हुए दीपोत्सव स्थल छोड़ने का प्रशिक्षण दिया। इस प्रशिक्षण में इण्टर कालेज के नोडल डॉ0 बंसत कुमार, इंजीनियर अंकित श्रीवास्तव सहित इण्टर कालेजों के प्राचार्यों एव प्रतिनिधि मौजूद रहे।
दीपोत्सव में झारखंड से दीप जलाने पहुंचेंगे 150 आदिवासी
अयोध्या। रामनगरी अयोध्या में आठवें दीपोत्सव को लेकर तैयारियां जोर-शोर से चल रही हैं। प्रशासनिक खेमे के अलावा डॉ राम मनोहर लोहिया विवि ने भी इस दिशा में युद्धस्तर पर कार्य शुरू कर दिया है। इस बार दीपोत्सव कुछ खास ही होने वाला है। इसमें झारखंड के 150 आदिवासी भी दीप जलाने के लिए पहुंच रहे हैं। यह आदिवासी स्वयंसेवक के रूप में घाटों पर जुटेंगे। उल्लेखनीय है कि अयोध्या में 2017 से राम की पैड़ी पर दीपोत्सव की शुरुआत हुई थी। उसके बाद से यहां दीपोत्कीसव के जरिए प्रतिवर्ष नए कीर्तिमान स्थापित हो रहे हैं। ऐसे में, इस बार मुख्यमंत्री ने 25 लाख दीये जलाने का ऐलान किया है जिसके लिए 28 लाख दीपों को सरयू नदी के किनारे तटों पर बिछाया जाएगा। मुख्यमंत्री की घोषणा के बाद अयोध्या नगरी को सजाने के काम शुरू कर दिया गया है।
राम की पैड़ी पर इस बार स्थानीय नागरिकों को भी शामिल करने की योजना बनाई गई है। इसके लिए वहां पर चौड़े-चौड़े पलेटफॉर्म वाली सीढियां बनाई जा रही हैं, जो बिल्कुल स्टेडियम की तरह है। इस बार दीयो की संख्या बढ़ते ही घाटों की संख्या बढ़ा दी गई है। 51 से 55 कर दिया गया है। चौधरी चरण सिंह व भजन संध्या स्थल व अन्य घाटों को दीप जलाने के लिए शामिल किया गया है। वहीं 90 हजार लीटर सरसो के तेल के प्रयोग होने की बात बताई जा रही है। दीपोत्सव में दीयो की संख्या बढ़ते ही रुई की बाती का इंतजाम भी किया जाने लगा है।
बताया जाता है 40 लाख रुई की बाती लगेगी। स्वयंसेवक 25 से राम की पैड़ी के घाटों पर दीये बिछाने का कार्य शुरू कर देंगे। दीपोत्सव के नोडल अधिकारी डॉ एसएस मिश्र ने बताया हमारी तैयारियां तेजी से चल रही है। इस बार श्री राम भव्य महल में विराजमान हुए हैं। इसलिए दीपोत्सव को और भी भव्य तरीके से मनाया जाएगा।