-बड़ा भक्तमाल मंदिर में अयोध्या के संत महंतों ने की बैठक
अयोध्या। रामनगरी अयोध्या के बड़ा भक्तमाल मंदिर में बैठक कर महंतों ने आज देश के सभी हिंदू मंदिरों को सरकारी नियंत्रण से मुक्त करने की मांग की।इस दौरान बड़ा भक्तमाल मंदिर के महंत अवधेश कुमार दास ने कहना है कि सरकारी नियंत्रण में रहकर मंदिरों की शुद्धता बनाए रखना असंभव है। चाहे वह तिरुपति बाला जी का मंदिर हो या महाकाल या काशी विश्वनाथ इन सभी को तत्काल सरकारी नियंत्रण से मुक्त किया जाना चाहिए जिससे उनकी शुद्धता का ध्यान रखा जा सके।
उन्होंने कहा कि जिस प्रकार अन्य धर्मों को स्वतंत्रता दी गई है उसी प्रकार बोर्ड बनाकर हमें धार्मिक स्वतंत्रता की मांग करते हैं। हमारी पवित्रता को भंग करने का प्रयास किया जाएगा तो हिंदू सोया नहीं रहेगा। परिणाम को लेकर सरकारों को तैयार रहना चाहिए। हमारे वेद, पुराण और शास्त्र के आधार पर मंदिरों का संचालन होना चाहिए। रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के दौरान लाखों लोग भगवान की प्राण प्रतिष्ठा तक अन्न और जल का त्याग कर भूखे रहे फिर प्रसाद ग्रहण किया। वह प्रसाद जब भगवान की प्राण प्रतिष्ठा तक अन्न और जल का त्याग कर भूखे रहे फिर प्रसाद ग्रहण किया। वह प्रसाद जब अपवित्र होने की बात आई है जो हम सब बहुत दुखी है। दोषियों पर कठोर कार्यवाही होनी चाहिए।
संकट मोचन सेना के अध्यक्ष एवं हनुमानगढ़ी के महंत संजय दास ने कहना है कि पराग, अमूल और पातिराम जैसे ब्रांडेडे घी ही हनुमानगढ़ी में प्रसाद के लिए इस्तेमाल हो रहा है। हम चेकिंग करते हैं कोई भी दुकानदार गलत पाया गया तो पहले हम दंड देकर उसकी दुकान सील कर देंगे। इसके अलावा प्रशासन को भी दुकानदारों से मिली भगत न कर सही जांच करनी चाहिए। दुकानदारों को इस बारे बेहद सावधानी बरतने के लिए आज उनको बैठक के लिए बुलाया गया है।
वही मंदिरों के भोग और व्यवस्था को लेकर चिंता जताते भक्तमाल के महंत अवधेश कुमार दास, संकट मोचन सेना के अध्यक्ष महंत संजय दास, जानकीघाट बड़ा स्थान के महंत जनमेजय शरण, जगदगुरू रामानुजाचार्य स्वामी राघवाचार्य, वरिष्ठ पुजारी हेमंत दास और नागा रामलखन मौजूद रहे।