मोहल्लों में प्रशासन ने उपलब्ध कराया सागभाजी, फल व दूध
चौक में किन्नरों के हंगामें से भागी पुलिस
अयोध्या। लॉकडाउन के पांचवें दिन प्रतिबंधों के बावजूद जनजीवन पटरी पर रहा। तेज हवा और कड़क धूप के कारण लोग घर से बाहर नहीं निकले। दूसरी ओर प्रशासन ने खाद्यान्न, दवा आदि की दूकानें पूर्ववत खुलवाया जिससे लोगों को खाद्यान्न लेने में दिक्कतों का सामना नहीं करना पड़ा। इसके अलावां मण्डी समिति व नगर निगम के संयुक्त अभियान के तहत डीसीएम, ट्रकों से वाजिब दर पर मोहल्लों में सब्जी, फल आदि उपलब्ध कराया गया। पराग डेरी ने 500 बैट्री रिक्शा के द्वारा दूध का वितरण लोगों के दरवाजे पर पहुंचकर करवाया।
नगर निगम ने टैंकरों में भरकर सेनेटाइजर वाटर लोगों में वितरित किया और उन्हें हिदायत दिया कि इससे अपने घर की फर्श व अन्य सामान सेनेटाइज करें। लोग गैलेन और बाल्टियों में भरकर सेनेटाइजर वाटर अपने घर ले गये। दूसरी ओर अनावश्यक सड़क पर चल रहे वाहनों को रोंककर पुलिस ने पूंछतांछ किया और वाजिब कारण न बताये जाने पर चालान की कार्यवाही की। अधिकांश लोग अपने जेब में दवा के पर्चे लेकर निकले थे और उन्होंने बहाना किया कि वह दवा लेने मेडिकल स्टोर जा रहे हैं। इसी क्रम में चौक घंटाघर पर उस समय हंगामा हो गया जब वहां तैनात पुलिस और किन्नरों में बहशबाजी शुरू हो गयी। किन्नर के कार का चालान काटने का प्रयास कर रहे दरोगा को महंगा साबित हुआ। पुलिस की हरकत पर नाराज किन्नरों ने हंगामा शुरू कर दिया। उनकी अश्लील हरकतों को देखकर चौक में तैनात पुलिस व आरएएफ के जवनों ने मैदान छोड़ना ही अपने हित में समझा। चौक घंटाघर पर कार में सवार किन्नरों की टोली निकल रही थी इसी बींच उप निरीक्षक यशवंत द्विवेदी ने कार को रोंका और पीछे जाकर चालान काटने के लिए मोबाइल से नम्बर प्लेट की फोटो खींचने लगे। दरोगा की यह हरकत किन्नरों को नागवार गुजरी और उन्होंने विरोध करना शुरू कर दिया। दरोगा ने जब पुलिसिया तेवर दिखाया तो किन्नर अश्लीलता पर उतर आये जिससे दरोगा सहित वहां मौजूद पुलिस कर्मी और आरएएफ के जवान मैदान छोड़कर भाग खड़े हुए।