– शिकायतों के बाद प्रभागीय वन अधिकारी ने किया स्थलीय निरीक्षण, कार्यवाही के दिए निर्देश
मिल्कीपुर। आचार्य नरेंद्र देव कृषि एवं प्रौद्योगिक विश्वविद्यालय कुमारगंज परिसर में भारी मात्रा में विश्वविद्यालय प्रशासन की मिलीभगत से प्रतिबंधित प्रजाति के पेड़ों को बिना किसी विधिक कार्यवाही के अवैध कटान किए जाने का मामला प्रकाश में आया है। शिकायतों के बाद स्थलीय निरीक्षण करने पहुंचे डीएफओ शीतांशु पांडे ने डेढ़ दर्जन शीशम एवं सागौन की काटी गई लकड़ी को कब्जे में लेने के निर्देश मातहतों को दिए हैं। उन्होंने विभागीय कार्यवाही किए जाने के आदेश भी दे दिए हैं। उधर अगर अपनी चोरी छिपाने में लगे विश्वविद्यालय के संपत्ति अधिकारी आनन-फानन में प्रकरण में कार्यवाही किए जाने हेतु अपने रिपोर्ट कुलपति को भेज दी है।
प्राप्त जानकारी के मुताबिक आचार्य नरेंद्र देव कृषि एवं प्रौद्योगिक विश्वविद्यालय के संपत्ति विभाग की ओर से बीते 28 जून 2022 को विश्वविद्यालय परिसर में 13 स्थलों पर पेड़ों से टूट कर गिरी टहनियों एवं डालो की 70 कुंटल 50 किलो ग्राम लकड़ी बिना वन विभाग से मूल्यांकन कराएं गुप चुप रूप से मनमाने ढंग से कुमारगंज निवासी अपने चहेते लकड़ी ठेकेदार ओमप्रकाश तिवारी के हाथों मात्र 20 हजार रुपए में नीलम कर दिया था। लकड़ी ठेकेदार पर संपत्ति अधिकारी की ऐसी कृपा बरसी कि बेअंदाज और मनबढ़ ठेकेदार ने बीते 4 दिनों के अंदर विश्वविद्यालय परिसर स्थित गंगा यमुना छात्रावास के बगल एवं डीएवी कॉलेज के मैदान में स्थित दो दर्जन भारी-भरकम विशालकाय शीशम तथा आधा दर्जन सागौन के भारी पेड़ों को काट कर गिरा दिया। ठेकेदार के लकड़ी लदे वाहन को संपत्ति अधिकारी की ओर से विश्वविद्यालय परिसर से बाहर जाने हेतु गेट पास भी जारी किया जाता रहा।
मामला बीते सोमवार को उस वक्त पकड़ में आया जब विश्वविद्यालय के प्रभारी सुरक्षा अधिकारी आर के सिंह ने लकड़ी लदे ट्रैक्टर ट्राली को रोक कर छानबीन की छानबीन के दौरान बिना किसी भी प्रकार की अनुमति एवं आदेश के अवैध कटान का मामला उजागर हुआ। मामले की जानकारी मिलते हैं भारतीय जनता पार्टी युवा मोर्चा जिला उपाध्यक्ष राघवेंद्र सिंह विक्की ने प्रकरण की शिकायत अयोध्या सांसद लल्लू सिंह से कर डाली। मामला संसद के संज्ञान में पहुंचते ही उन्होंने डीएफओ सीतांशु पांडे को मौके पर भेज दिया। कृषि विश्वविद्यालय परिसर पहुंचे प्रभागीय वन अधिकारी कुमारगंज रेंजर प्रमोद कुमार श्रीवास्तव एवं वन कर्मियों की टीम के साथ अवैध कटान किए गए स्थल का निरीक्षण किया जहां उन्होंने भी बिना किसी अनुमति एवं मूल्यांकन सहित नीलामी के अवैध कटान पकड़ा। उन्होंने मामले में विभागीय कार्यवाही किए जाने के निर्देश क्षेत्रीय वन अधिकारी प्रमोद कुमार श्रीवास्तव को दिए।
अवैध कटान की जानकारी मिलते ही इलेक्ट्रॉनिक और प्रिंट मीडिया कर्मी भी मौके पर पहुंच गए। उधर फजीहत और अपनी गर्दन नपती देख कुलपति के पास पहुंचे और सारी कहानी बयां कर दी। जिस पर कुलपति डॉ विजेंद्र सिंह ने उद्यान विभाग के प्राध्यापक डॉ संजय पाठक, संपत्ति अधिकारी डॉ सीताराम मिश्रा एवं प्रभारी सुरक्षा अधिकारी आर के सिंह सहित वित्त नियंत्रक कार्यालय के एक नामित सदस्य की संयुक्त जांच कमेटी गठित कर दी। जांच कमेटी के सदस्य मौके पर पहुंचे और स्थलीय निरीक्षण के दौरान टीम में संपत्ति अधिकारी अन्य टीम के सदस्यों के सवालों पर निरुत्तर दिखे। स्थलीय निरीक्षण करने पहुंचे डीएफओ के सवाल पर संपत्ति अधिकारी ने बताया कि आरोपी ठेकेदार के विरुद्ध मुकदमा कायम कराए जाने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। उधर डीएफओ ने बताया कि विश्वविद्यालय की ओर से की गई नीलामी प्रक्रिया पूरी तरह से गलत थी। क्योंकि बिना वन विभाग की ओर से मूल्यांकन कराए विश्वविद्यालय परिसर स्थित किसी भी पेड़ की नीलामी प्रक्रिया संपन्न कराना पूरी तरह से अनियमित है।