-स्वस्तिवाचन व शंखनाद से संस्कृति बोध अभियान का हुआ शुभारंभ
अयोध्या। भारतीय संस्कृति का जितना बखान किया जाए वह कम है । यह हमारे देश की ही संस्कृति है जहां रक्षा सूत्र बांधने पर भाई रक्षा के लिए सदैव तत्पर रहता है । विश्व में एक मात्र हमारी ही संस्कृति है जहां पशु- पक्षी, मनुष्य, देवी-देवता, यहां तक की पत्थर तक पूजे जाते हैं । पृथ्वी के प्रारंभ से ही भारतीय संस्कृति की दुंदुभी चारों ओर सुनाई देती है ।
भारतीय संस्कृति एवं जीवन मूल्यों को घर-घर पहुंचाने का संकल्प लेकर संस्कृति बोध अभियान का शुभारंभ विद्या भारती विद्यालय सरस्वती विद्या मंदिर उ० म० विद्यालय रामनगर में स्वस्तिवाचन तथा शंखनाद से प्रारम्भ हुआ। कार्यक्रम का शुभारंभ उत्तम कुमार मिश्र (प्रांतीय पूर्ण कालिक विद्या भारती), शिवदयाल सरस्वती विद्या मंदिर इण्टर कॉलेज के प्रधानाचार्य अवनि कुमार शुक्ल, डॉ० आर० के० सिंह जी (प्रबंधक) अभिभावक संघ के पदाधिकारी अमित सिंह, एवं प्रधानाचार्य श्री मंगली प्रसाद तिवारी जी ने मां सरस्वती के समक्ष दीप प्रज्वलित एवं पुष्पार्चन कर किया। प्रान्तीय पूर्णकालिक श्री उत्तम कुमार मिश्र ने बताया कि विश्व में प्रत्येक देश अपनी संस्कृति, परंपराओं ,जीवन मूल्यों, ज्ञान- विज्ञान एवं महापुरुषों के अनुभव को राष्ट्रीय धरोहर के रूप में भावी पीढ़ी को शिक्षा के माध्यम से सौंपने का प्रयास करता है इसलिए संस्कृति का बोध कराने के लिए विद्या भारती अपने विद्यालयों के साथ ही साथ समाज के अन्यान्य शैक्षणिक संस्थानों के माध्यम से इस दिशा में प्रयासरत है संस्कृति के व्यापक प्रचार -प्रसार हेतु विद्या भारती पूर्वी उत्तर प्रदेश 18 अगस्त से 05 सितम्बर तक अभियान चला रही है।
इस अभियान में भैया- बहनों, आचार्य, पूर्व आचार्य, पूर्व छात्र, अभिभावक, मातृ भारती एवं समाज के अन्य गणमान्य नागरिकों के माध्यम से घर-घर पहुंचकर लोगों को भारतीय संस्कृति से परिचित कराने हेतु ज्ञान परीक्षा देने के लिए प्रेरित करेंगे प् अभियान में कक्षा तृतीय से द्वादश तक विद्या भारती के भैयादृबहनों के अतिरिक्त अन्य विद्यालयों के छात्र भी परीक्षा देंगे। इसी प्रकार अभिभावकों एवं आचार्यों के लिए परीक्षा चार भागों में आयोजित होगी- प्रवेशिका, मध्यमा, उत्तमा तथा प्रज्ञा। डॉ० आर० के० सिंह ने संबोधित करते हुए बताया कि अपनी संस्कृति की रक्षा के लिए विद्या भारती ने संस्कृति बोध परियोजना का आरंभ कियाप् जिसके माध्यम से समाज के सभी बंधु- भगिनी तक अपनी सांस्कृतिक धरोहर का पुनः स्मरण कराया जा सके। विद्यालय के प्रधानाचार्य मंगली प्रसाद तिवारी ने आभार ज्ञापित करते हुए बताया कि अयोध्या संकुल के कुल 9 विद्यालयों के सभी भैया/बहनों तथा आचार्यों का पंजीकरण जुलाई में पूर्ण हो चुका है।
आज अभियान के प्रारंभ होने पर 136 लोगों ने पंजीकरण कराया। उन्होंने बताया कि प्रतिदिन संकुल के सभी विद्यालयों का पंजीकरण विवरण प्रांतीय कार्यालय को उपलब्ध कराया जाएगा। इस अवसर पर प्रमुख रूप से उत्तम कुमार मिश्र, डॉ० आर० के० सिंह, अवनी कुमार शुक्ल, अमित सिंह, प्रधानाचार्य क्रमशः अभिभावक बिंदु बाल्मीकि, अर्पित तिवारी, आचार्य राम भद्र जोशी, अनुराग जायसवाल, विश्वनाथ यादव, नेहा नारंग, शालिनी सिंह आदि एवं पूर्व छात्र, प्रबंध समिति के बंधु/भगिनी उपस्थित रहे। संचालन सरिता पाण्डेय ने किया। उक्त जानकारी विद्यालय की प्रचार प्रमुख अमित पाण्डेय ने दिया। कार्यक्रम का समापन कल्याण मंत्र के साथ किया गया।