श्रीरामवल्लभाकुंज में सन्तों महन्तों ने किया सम्मानित
अयोध्या। जिलाधिकारी अनुज कुमार झा और पुलिस कप्तान आशीष तिवारी का बुधवार को श्रीरामवल्लभाकुंज में सन्तों ने सम्मान किया। जिनका माल्यार्पण, कनक बिहारी सरकार का चित्रपट व श्रीरामचरित मानस की पुस्तक भेंटकर सम्मानित किया गया। यह सम्मान उन्हें राममन्दिर के पक्ष में आए फैसले बाद जिले में शान्ति-व्यवस्था कायम रखने और 6 दिसम्बर को सकुशल संपन्न कराने के लिए दिया गया। सर्वप्रथम दीप प्रज्वलन कर सम्मान समारोह का शुभारम्भ किया गया। वेदपाठी ब्राह्मणों ने स्वस्ति वाचन के साथ अतिथियों का स्वागत किया। सन्तों द्वारा सम्मान पाकर जिलाधिकारी और एसएसपी बहुत ही अविभूत दिखे। इस मौके पर डीएम अनुज कुमार झा ने कहाकि अयोध्या का संदेश पूरे विश्व को जाता है। भगवान की कृपा से हमारी तैयारी बहुत अच्छी थी। यहां शान्ति-व्यवस्था लगातार कायम रहा। सभी ने सुप्रीमकोर्ट के फैसले को हृदय से स्वीकार किया। उन्होंने कहाकि हमारी प्लानिंग चल रही है अयोध्या के स्वरूप का यहां सबकुछ होना चाहिए। मुख्यमंत्री का अयोध्या से बहुत ही लगाव है, जिसके कारण वह यहां पर बराबर ध्यान दे रहे हैं। उन्हीं के अनुसार यहां का प्लान बन रहा है और 2-3 सालों में संचालित भी हो जायेगा। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक आशीष तिवारी ने कहाकि अयोध्या की सबसे खास बात यह है कि यहां गंगा-जमुनी तहजीब है। भगवान की ऐसी अनुकम्पा रही। हमें अयोध्या में कार्य करने का मौका मिला। हमने अपने जीवन में कभी नही सोचा था कि अयोध्या आऊंगा। लेकिन अयोध्या आया और भगवान की शरण में रहकर कार्य करने का अवसर मिला। उन्होंने कहाकि जो हुआ वह अच्छा ही था और आगे जो होगा, वह भी बहुत अच्छा ही होगा। सम्मान समारोह की अध्यक्षता करते हुए श्रीरामवल्लभाकुंज के अधिकारी राजकुमार दास ने कहाकि जिस प्रकार त्रेतायुग में नल-नील ने सेतुबंध निर्माण कर लंका विजय का मार्ग प्रशस्त किया था। ठीक उसी प्रकार इन दोनों अधिकारियों ने नल-नील के रूप में जिले में सामाजिक सौहार्द कायम किया। जो बहुत ही सराहनीय है। सन्तों के मन में भाव था कि रामलला के पक्ष में निर्णय आए। वह भव्य भवन में विराजमान हों। श्री दास ने कहाकि अयोध्या की एक भी घटना पूरे विश्व व देश को हिला देती है। लेकिन सर्वोच्च न्यायालय के निर्णय बाद वहां शान्ति बनी रही। इन लोगों का भगवान के प्रति विशुद्ध भाव था। यह मानवता व समरसता का संदेश देने वाली नगरी है। वहां ऐसा ही सबकुछ कायम रहे, समरसता बनी रही। नाका हनुमानगढ़ी महन्त रामदास ने कहाकि बिना प्रभु की कृपा से कोई भी कार्य सम्पन्न नही होता है। कोर्ट का फैसला व ६ दिसम्बर सकुशल निपट गया। सोशल मीडिया के माध्यम से इन अधिकारियों ने लोगों से संवाद स्थापित किया। संवाद से तो बड़े-बड़े फैसले हल हो जाते हैं। दिव्य राममन्दिर का जब निर्माण होगा तो इन्हीं की सुरक्षा में ही होगा। डाड़िया मन्दिर के महन्त गिरीश दास ने कहाकि यह सब अधिकारी भगवान के पार्षद थे, जिनसे ठाकुर जी ने सेवा ली। अधिकारियों ने यहां से लेकर मुख्यमंत्री तक अयोध्या के लोगों का संवाद स्थापित किया। साधु-सन्तों की तरफ से इन्हें बहुत-बहुत साधुवाद है। इसके अलावा एसपी सिटी विजयपाल सिंह, एसपी ग्रामीण शैलेन्द्र कुमार सिंह, एडीएम प्रशासन संतोष कुमार सिंह, सीओ अयोध्या अमर सिंह, अयोध्या कोतवाल सुरेश पाण्डेय, थानाध्यक्ष श्री निवास पाण्डेय आदि को भी सम्मानित किया गया। इस अवसर पर मुख्य रूप से आंजनेय सेवा संस्थान के अध्यक्ष महन्त शशिकान्त दास, महन्त कमलादास रामायणी, महन्त सच्चिदानंद दास, मानस अगस्त रामअवतार दास, रामायणी रामकृष्ण दास, आचार्य रघुनाथ दास शास्त्री, संत मिथिला बिहारी दास, शैलेन्द्र शुक्ला, संतदास आदि उपस्थित रहे।