-रूस, थाईलैंड, इंडोनेशिया, नेपाल और श्रीलंका के कलाकार पेश करेंगे श्रीराम की लीला
अयोध्या। इस वर्ष नौवें संस्करण के दीपोत्सव के अवसर पर अयोध्या अंतरराष्ट्रीय सांस्कृतिक मंच बनकर उभर रही है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देशानुसार अयोध्या में एक अभूतपूर्व अंतरराष्ट्रीय रामलीला का आयोजन किया जा रहा है, जिसमें रूस, थाईलैंड, इंडोनेशिया, नेपाल और श्रीलंका के कलाकार मर्यादा पुरुषोत्तम श्री राम की लीला का मंचन करेंगे।
अंतरराष्ट्रीय कलाकारों की भागीदारी अयोध्या को न केवल धार्मिक बल्कि सांस्कृतिक पर्यटन का केंद्र भी बनाएगी। इस बार कुल 90 विदेशी कलाकार अयोध्या की पावन भूमि पर अपनी कला और सांस्कृतिक धरोहर के माध्यम से रामकथा को जीवंत रूप में पेश करेंगे। अयोध्या के राम कथा पार्क में इस वर्ष विभिन्न राज्यों की प्रसिद्ध रामलीलाओं का मंचन किया जाएगा।
रूस के कलाकार स्वयंवर की महिमा का अद्भुत मंचन
रूस से आए 15 कलाकार रामलीला के दौरान स्वयंवर का दृश्य प्रस्तुत करेंगे। उनके मंचन में रूस की पारंपरिक रंगमंचीय तकनीक और भारतीय कथा का अनूठा मिश्रण दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर देगा। रूस के कलाकारों ने इस प्रस्तुति के लिए महीनों की तैयारी की है और वे दर्शकों को राम और सीता के दिव्य मिलन की अनुभूति देंगे।
थाईलैंड : तीन प्रमुख युद्धों का दृश्य
थाईलैंड से आए 10 कलाकार रामलीला में शूर्पणखा और राम-लखन संघर्ष, मारीच से संघर्ष और राम-रावण युद्ध का मंचन करेंगे। इन युद्धों के माध्यम से राम और रावण के बीच धर्म और अधर्म की कहानी दर्शकों के सामने प्रस्तुत होगी। थाईलैंड के कलाकारों की पारंपरिक नृत्य-नाट्य शैली इस प्रस्तुति को और भी जीवंत बनाएगी।
इंडोनेशिया : लंका दहन और अयोध्या वापसी
इंडोनेशिया के 10 कलाकार रामलीला में लंका दहन और अयोध्या वापसी के दृश्य को अद्भुत ढंग से प्रस्तुत करेंगे। यह प्रस्तुति दर्शकों को राम के जीवन के महत्वपूर्ण मोड़ों का अनुभव कराएगी और अयोध्या की सांस्कृतिक धरोहर को अंतरराष्ट्रीय मंच पर पहचान दिलाएगी।
नेपाल : लक्ष्मण पर शक्ति प्रदर्शन की पहली प्रस्तुति
नेपाल से आए 33 कलाकार इस बार रामलीला में पहली बार लक्ष्मण पर शक्ति प्रदर्शन प्रस्तुत करेंगे। इससे पहले नेपाल की रामलीला मुख्य रूप से मां सीता पर केंद्रित होती थी। इस बार की प्रस्तुति अयोध्या में रामलीला के अंतरराष्ट्रीय स्तर को और भी प्रतिष्ठित बनाएगी और दर्शकों को रामकथा का नया दृष्टिकोण दिखाएगी।
श्रीलंका : के रावणेश्वरा का अद्भुत दृश्य
श्रीलंका से आए 22 कलाकार में से दो कलाकार पहले ही अयोध्या पहुंच चुके हैं। यह टीम रामेश्वर की भूमि पर रावणेश्वरा का दृश्य प्रस्तुत करेगी। श्रीलंका वासी आज भी रावण को ईश्वर की भूमिका में मानते हैं और इस भाव को मंच पर जीवंत रूप से दिखाया जाएगा।
अंतरराष्ट्रीय रामायण एवं वैदिक शोध संस्थान की भूमिका
अयोध्या अंतरराष्ट्रीय रामायण एवं वैदिक शोध संस्थान के संस्थान के सलाहकार और विशेष कार्याधिकारी आशुतोष द्विवेदी ने बताया कि यह अंतरराष्ट्रीय रामलीला 17 अक्टूबर से 20 अक्टूबर तक चलेगी। उन्होंने कहा कि इस आयोजन का उद्देश्य न केवल रामलीला की परंपरा को जीवंत रखना है, बल्कि अंतरराष्ट्रीय संस्कृति और भारतीय सांस्कृतिक मूल्यों को विश्व स्तर पर प्रदर्शित करना है।
दीपोत्सव और अयोध्या की परंपरा
अयोध्या के 56 घाटों और मंदिरों पर लाखों दीपों की रोशनी में यह रामलीला देखने वालों के लिए अविस्मरणीय अनुभव बनेगी। दीपोत्सव के दौरान रंग-बिरंगी रोशनी, पारंपरिक और आधुनिक सजावट और अंतरराष्ट्रीय कलाकारों का मंचन अयोध्या की सांस्कृतिक विरासत को और भी उजागर करेगा।
दर्शकों के लिए विशेष आकर्षण
इस अंतरराष्ट्रीय रामलीला का अंतरराष्ट्रीय कलाकारों का मंचन, पारंपरिक भारतीय वेशभूषा, लाइटिंग और सेट डिजाइन, सभी दर्शकों के लिए एक यादगार अनुभव होगा। विदेशी कलाकारों की प्रस्तुति से न केवल भारतीय संस्कृति की वैश्विक पहचान बढ़ेगी, बल्कि अयोध्या में आयोजित दीपोत्सव की भव्यता और आकर्षण भी दोगुना होगा।
अयोध्या दीपोत्सव के लिए बनाए जा रहे 15 अस्थायी चिकित्सालय
अयोध्या। दीपोत्सव 2025 को अविस्मरणीय और पूर्णतः सुरक्षित बनाने के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर स्वास्थ्य विभाग ने अयोध्या में पुख्ता इंतजाम किए हैं। इस बार दीपोत्सव में आने वाले श्रद्धालुओं और पर्यटकों के स्वास्थ्य की देखभाल के लिए 15 अस्थायी चिकित्सालय बनाए जा रहे हैं। साथ ही संपूर्ण मेला क्षेत्र में 10 स्थानों पर चौबीसों घंटे एंबुलेंस की तैनाती की जा रही है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के विशेष निर्देश पर इस वर्ष नौवें संस्करण के दीपोत्सव के लिए युद्धस्तर पर तैयारियां की जा रही हैं। इस आयोजन में एक-एक व्यक्ति के स्वास्थ्य का पूरा ध्यान रखा जाएगा। अयोध्या के मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. सुशील कुमार बानियान ने बताया कि दीपोत्सव के दौरान स्वास्थ्य सेवाओं को लेकर पूरी सतर्कता बरती जाएगी। सभी चिकित्सालयों में आवश्यक दवाएं, पैरामेडिकल स्टाफ और विशेषज्ञ चिकित्सक उपलब्ध रहेंगे।
इन स्थानों पर तैनात रहेंगी एंबुलेंस
कंट्रोल रूम, श्री राम जन्मभूमि परिसर, श्री हनुमानगढ़ी, श्री कनक भवन मंदिर परिसर, पक्का घाट, बंधा तिराहा (वीणा चौराहा), हनुमानगुफा (श्री राम कथा संग्रहालय), साकेत पेट्रोल पंप, अयोध्या धाम रेलवे स्टेशन और श्री नागेश्वर नाथ मंदिर पर एंबुलेंस हर समय मौजूद रहेंगी।
तीन प्रमुख अस्पतालों में 50 बेड आरक्षित
1. स्वशासी राजर्षि दशरथ मेडिकल कॉलेज, अयोध्या नगर में 20 बेड आरक्षित।
2. जिला चिकित्सालय अयोध्या (पुरुष) में 20 बेड आरक्षित।
3. श्री राम चिकित्सालय अयोध्या में 10 बेड आरक्षित।
इन 15 स्थानों पर बनाए जा रहे अस्थायी प्राथमिक उपचार केंद्र
कंट्रोल रूम (साकेत डिग्री कॉलेज के सामने), श्री राम जन्मभूमि निकास द्वार, श्री राम जन्मभूमि निकास द्वार (पीएफसी), श्री हनुमानगढ़ी मंदिर, बंधा तिराहा (विकास प्राधिकरण कार्यालय), पक्का घाट (08 बेड अस्थायी चिकित्सालय), श्री नागेश्वरनाथ मंदिर, साकेत पेट्रोल पंप, हनुमानगुफा (श्री राम कथा संग्रहालय), अंतर्राष्ट्रीय बस स्टॉप अयोध्या धाम, कारसेवकपुरम, दशरथ महल, अयोध्या धाम रेलवे स्टेशन, कनक भवन मंदिर परिसर और झनकी घाट पर चिकित्सा शिविर लगाए जा रहे हैं।
अन्य जनपदों से आएंगी विशेषज्ञ डॉक्टरों की टीमें
दीपोत्सव में स्वास्थ्य सेवाओं को और अधिक सशक्त बनाने के लिए अमेठी, अंबेडकरनगर, बाराबंकी और सुल्तानपुर जनपदों से विशेषज्ञ चिकित्सकों की टीमें भी अयोध्या पहुंचेंगी। ये टीमें संपूर्ण आयोजन के दौरान अलग-अलग स्थानों पर तैनात रहकर श्रद्धालुओं को स्वास्थ्य सेवाएं प्रदान करेंगी।