-कृषि विश्वविद्यालय में मनाया गया कृषि शिक्षा दिवस
मिल्कीपुर। युवा ही राष्ट्र की धरोहर हैं। युवाओं के बेहतर भविष्य के लिए कृषि शिक्षा बहुत जरूरी है। अपने भविष्य को संवारने के लिए कृषि शिक्षा के क्षेत्र में युवाओं के पास एक सुनहरा मौका है। इस क्षेत्र में रोजगार की भी अपार संभावनाएं हैं। देश के विकास के लिए मेडिकल के बाद कृषि क्षेत्र अपना महत्वपूर्ण योगदान दे रहा है। कृषि, कृषि शिक्षा एवं अनुसंधान के अपर मुख्य सचिव डा. देवेश चतुर्वेदी कृषि शिक्षा दिवस के अवसर पर ऑनलाइन जुड़कर छात्र छात्राओं को मुख्य अतिथि के रूप में संबोधित कर रहे थे। शासन में जरूरी बैठक होने के कारण वे विश्वविद्यालय नहीं पहुँच सके।
कृषि विश्वविद्यालय परिसर स्थित एग्री बिजनेस मैनेजमेंट के प्रेक्षागृह में कार्यक्रम का आयोजन किया गया। डॉक्टर चतुर्वेदी ने कहा कि कृषि की पढ़ाई के बाद छात्र तकनीकी व्यवसाय को अपनाएं और दूसरों को भी रोजगार दें। कृषि के क्षेत्र में शोध की भूमिका अहम है, वैज्ञानिकों को हमेशा शोध करते रहना चाहिए। कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए कृषि विश्वविद्यालय के कुलपति डा. बिजेंद्र सिंह ने कहा कि संविधान को बनाने में डॉ राजेंद्र प्रसाद ने अहम भूमिका निभाई थी। कैसे शिक्षा दिवस पर बोलते हुए कहा कि कृषि शिक्षा को हर वर्ष विश्वविद्यालय उत्सव की तरह मनाता है।
इस वर्ष कृषि शिक्षा में 34 प्रतिशत बच्चों की भागीदारी बढ़ी है। उन्होंने कहा कि कृषि शिक्षा के प्रति छात्रों का तेजी से रुझान बढ़ा है। इसके अलावा कुलपति ने विश्वविद्यालय की अन्य उपलब्धियों को भी गिनाया। निदेशक प्रसार प्रोफेसर ए पी राव ने भी बच्चों को कृषि शिक्षा के बारे में जागरूक किया। कृषि शिक्षा दिवस के अवसर पर वाद विवाद, पोस्टर एवं पेटिंग प्रतियोगिता का आयोजन किया गया जिसमें छात्र-छात्राओं ने प्रतिभाग किया। पोस्टर प्रतियोगिता में प्रथम स्थान पर स्मृति, द्वीतीय श्रीजन यादव व वृंदा वर्मा और तृतीय स्थान पर अतुल सिंह सैनी ने हासिल किया।
पेंटिंग प्रतियोगिता में प्रथम स्थान अद्रिका सिंह, द्वीतीय कंचन सुप्रिया व तीसरा स्थान कोमल सिंह ने हासिल किया। वहीं दूसरी तरफ वाद-विवाद प्रतियोगिता में प्रथम स्थान अनुष्का, द्वितीय पर श्रद्धा झा व तृतीय स्थान पर साक्षी तिवारी एवं नरेश राठी ने सफलता हासिल की। प्रतियोगिता में हिस्सा लेने वालों में सभी स्नातक के छात्र शामिल थे। प्रतियोगिता में प्रतिभाग करने वाले सभी विजेता प्रतिभागियों को कुलपति डॉ. बिजेंद्र सिंह ने पुरस्कार देकर सम्मानित किया।
कार्यक्रम से पूर्व कुलपति डा. बिजेंद्र सिंह, वित्त नियंत्रक नीरज श्रीवास्तव, निदेशक प्रसार प्रो. ए.पी राव व अन्य अतिथियों ने आचार्य नरेंद्र देव व प्रथम राष्ट्रपति डॉ राजेंद्र प्रसाद की प्रतिमा पर माल्यार्पण व दीप प्रज्वलन कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया। कार्यक्रम के संयोजक छात्र कल्याण अधिष्ठाता डा. डी. नियोगी रहे व संचालन कुलपति के सचिव डॉक्टर जसवंत सिंह व धन्यवाद ज्ञापन डॉ नमिता जोशी ने किया। इस मौके पर विश्वविद्यालय के समस्त अधिष्ठाता, निदेशक, कर्मचारी, शिक्षक, वैज्ञानिक व छात्र-छात्राएं मौजूद रहे।