यूएई में स्वर्ण भारत परिवार के एंबेसडर विवेक को मिला अब्दुल कलाम सम्मान राष्ट्रीय सम्मान
अयोध्या। संयुक्त राज्य अमीरात के आबू धाबी में तैनात स्वर्ण भारत परिवार के राजदूत विवेक तिवारी ने कहा कि पूरे विश्व में कुपोषण से मुक्त के लिए शुरुआत हो चुकी है। भारत सरकार का लक्ष्य है कि वर्ष 20 22 तक भारत में एक भी कुपोषित व्यक्ति न रहे। इसके लिए भारत सरकार की ओर से पोषण माह अभियान शुरू किया गया है।
मूल रूप से अयोध्या जनपद के निवासी श्री तिवारी भारत सरकार यूनिसेफ और स्वर्ण भारत परिवार ट्रस्ट के संयुक्त तत्वाधान में आयोजित कुपोषण मुक्त अभियान सम्मेलन को संबोधित कर रहे थे। उत्कृष्ट कार्य के लिए श्री तिवारी को एपीजे अब्दुल कलाम आजाद पुरस्कार प्रदान किया गया। उन्होंने बताया कि मोटापा भी एक प्रकार का कुपोषण है। कुपोषण को देश से हटाना है तो शिक्षा और रोजगार पर विशेष ध्यान देना होगा। शिक्षित बेटी कुपोषण के हानिकारक प्रभाव को समझ पाएगा अन्यथा हुआ इससे भगवान का श्राप मानकर अपनाता रहेगा। सरकार को शिक्षा और रोजगार को अपने एजेंडे में शामिल करना चाहिए। महिला एवं बाल विकास मंत्रालय की तरफ से पोषण माह में जागरूकता अभियान के तहत चलाए जा रहे अभियान में नीति आयोग के आग्रह पर स्वर्ण भारत ने यह कार्यक्रम पोषण माह को समर्पित किया है। गूगल मीट पर आयोजित इस सम्मेलन में अफगानिस्तान, केमरून, सिंगापुर, आस्ट्रेलिया,घाना,सियरा लियेन,सोमालिया,टोगो समेत अन्य देशों के प्रतिनिधियों ने अपने महत्वपूर्ण विचार रखें। विशेषज्ञों ने यूनिसेफ,यूनाइटेड नेशन व भारत सरकार की गाइडलाइन की चर्चा करते हुए सभी सदस्यों से जागरूकता फैलाने का आग्रह किया। ऑस्ट्रेलिया से शिरकत करते हुए ट्रस्टी रोशनी लाल ने कहा कि महिलाएं शपथ ले कि वह अपनी गर्भवती बहुओं को पोषक आहार जैसे हरी सब्जी, दाल, अंडा,फल आदि उचित मात्रा में देंगी और आयोडीन युक्त नमक में पका भोजन कराएंगीं। साथ ही आयरन फोलिक एसिड की गोलियां भी देंगे। पुरुषों को गर्भावस्था के दौरान पत्नी का पूरा ख्याल रखने और माताओं को सातवें महीने से ही बच्चे के स्तनपान तथा पोषक आहार की शपथ लेनी चाहिए। कुपोषण को हटाने के लिए यह सुनिश्चित करना होगा कि नवजात शिशु को छह माह तक स्तनपान हासिल हो।ं