रेगिस्तान सी बनी रुदौली इलाके की कोटरा समेत दर्जन भर गांवों के लोगों की जिंदगी
रुदौली। बालू घाट गोण्डा की वजह से सड़कें ध्वस्त हो रहीं हैं वहीं अयोध्या प्रशासन मौन बना है वजह सफेद बालू का काला कारोबार। आलम यह है कि जिले को राजस्व का लाभ एक पैसे का भी नहीं। लेकिन करोड़ों का चूना लग रहा है। इतना ही नहीं सरयू तीरे बसे दर्जन भर गांवों के लोगों की जिंदगी इस वकत रेगिस्तान में रहने वाले वाशिंदों जैसी हो गई है। इनका घर से निकलना दूभर हो गया है। रुदौली कोतवाली क्षेत्र के शुजागंज पुलिस चौकी इलाके में सरयू से निकलने वाली रेत के लिए गोण्डा जनपद में सोनौली मोहम्मदपुर घाट का आवंटन हुआ है। जहां गोण्डा के अजय सिंह नामक व्यक्ति का पट्टा हुआ है। इस समय यहां दिन-रात रेत खनन चल रहा है। रोजाना सैकड़ों बालू से लदी ओवरलोड ट्रकें सड़कों की जान ले रही हैं। सबकुछ जानते हुए भी रुदौली की पुलिस व तहसील प्रशासन आंख मूंदे बैठा है। खास बात तो यह है कि सारी ट्रकें पुलिस चौकी शुजागंज के मुख्य गेट से होकर गुजरती हैं। इलाके के सुभाष यादव, दिलीप कश्यप, सुरेश रावत, विष्णु दुबे, अश्वनी, राम निहोर, हसीब अहमद ने ओवरलोडिंग के चलते ध्वस्त हो रही सड़कों के बावत शिकायत कई बार रुदौली प्रशासन से की लेकिन कार्रवाई सिफर है। इन ग्रामीणों का आक्रोश बढ़ता जा रहा है। ये लोग जिलाधिकारी आवास घेरने की तैयारी में हैं। सुरेश रावत ने बताया कि एक ही रायल्टी पर कई चक्कर बालू ढोई जाती है। प्रशासन सबकुछ जानता है। सुभाष चंद्र यादव ने बताया कि पहले रायल्टी प्रति ट्रक का जहां 3200 और 5500 रुपए लिया जाता था। वही अब 4500 और 6500 रुपये ऐंठे जाते हैं। खनिज इंस्पेक्टर जनार्दन दुबे ने बताया कि ओवरलोडिंग बालू लदी ट्रकों की शिकायत मिल रही है लेकिन रुदौली तहसील प्रशासन का साथ नहीं मिल पा रहा है। रुदौली की एसडीएम ज्योति सिंह ने बताया कि ओवरलोडिंग के लिए छापेमारी की जाएगी।